भोपाल
गैंगरेप मामले में पुलिस और प्रशासन की लापरवाही के बाद अब पीड़िता की मेडिकल रिपोर्ट में गड़बड़ी के आरोप लगे हैं। गैंगरेप जैसे मामले में लेडी डॉक्टर ने पहले जो रिपोर्ट बनाई उसे शर्मनाक कहना गलत नहीं होगा। पीड़िता की मेडिकल रिपोर्ट में लेडी डॉक्टर ने ‘सहमति से सहवास’ लिखा और जब मामले ने तूल पकड़ा, तो दोबारा हुई जांच रिपोर्ट में 4 लोगों द्वारा 6 बार रेप करने की मेडिकल रिपोर्ट तैयार हुई है।
इस मामले में प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष अरुण यादव ने ट्वीट करके प्रशासन और पुलिस पर सवाल उठाए हैं और आरोप लगाया है। वहीं सीएम शिवराज सिंह को आड़े हाथ लेते हुए कहा है कि, ‘क्या सिर्फ चुनाव में भांजियों की याद आती है।’ वहीं सीएम शिवराज सिंह ने डीजीपी को मामले की जांच कर शाम तक कार्रवाई के आदेश दिए हैं।
दरअसल, मामले में भोपाल पुलिस और सुल्तानिया अस्पताल की मेडिकल करने वाली डॉक्टर पर गंभीर आरोप लगे हैं। इस मामले में पीड़िता की पहले हुई मेडिकल रिपोर्ट में ‘सहमति से सहवास’ कराना बताया गया है। इस रिपोर्ट के वायरल होने के बाद पहले तो पुलिस और प्रशासन ने चुप्पी साध ली और जब विवाद बढ़ा तो पीड़िता का दोबारा मेडिकल करवाया गया।
दोबारा दूसरी डॉक्टर ने मेडिकल किया और उसमें सामने आया कि 4 आरोपियों ने पीड़िता के साथ 6 बार दुष्कर्म किया। अब जब पहली रिपोर्ट वायरल हो गयी है, तो पुलिस और सुल्तानिया अस्पताल प्रबंधन पर मामले को दबाने के आरोप लग रहे हैं।
इस मामले में मेडीकल रिपोर्ट सामने आने के बाद अरुण यादव ने ट्वीट करके कहा है कि…
गैंगरेप जैसे अतिसंवेदनशील मामले में किस भाजपा नेता का फोन TI के पास आया
एवं किसके दबाब में मेडिकल रिपोर्ट में “सहमति से बनाए संबंध” लिखा इन सबकी निष्पक्ष जांच होकर खुलासा होना चाहिए। शिवराज जी आप कब तक मौन रहोगे ? क्या सिर्फ चुनाव में ही भांजियों की याद आती है ?
वहीं मामले का तूल पकड़ने के बाद मुख्यमंत्री शिवराज सिंह ने पीड़िता को कटघरे में खड़ी करने वाली रिपोर्ट तैयार करने वालों पर सख्त कारवाई के निर्देश दिए हैं। उन्होंने डीजीपी ऋषि कुमार शुक्ला को शाम पांच बजे तक जांच करने के लिए कहा है। इस मामले में पहले मेडिकल करने वाली डॉक्टर पर भी गाज गिर सकती है।